noon moon soon
There is a story in every eye and I wish to pen it all down...
Saturday, 13 October 2012
पिंजरे गढ़ने वाला
पिंजरे गढ़ने वाले ने एक और पिंजरा गढ़ दिया,
अपनी सलाखों में रहने
कि
आदत को मशहूर कर दिया,
खरीदारों में,
नसीहत देने वालों की भी कमी नहीं,
कहते हैं, साले ! ने ईमान बेच दिया,
जाए तो जाए कहाँ,
यह उड़कर,
यहीं पे अपना,
दर्द बेचना शुरू कर दिया,
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